G-20 Summit: क्या है ? जी 20 शिखर सम्मेलन – मुख्यालय | सदस्य देश की सूची

अंतर्राष्ट्रीय राजनीति और मुद्दों में दिलचस्पी रखने वाले लोगों के लिये जी 20 शिखर सम्मेलन और संगठन कोई नया नाम नहीं है। जो लोग जी 20 के बारे में नहीं जानते हैं उनके लिये आज हम इस आर्टिकल में जी 20 (G-20 Countries) के बारे में जानकारी देने वाले हैं। दुनिया की जनसंख्या कितनी है ... Read more

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Reported by Rohit Kumar

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अंतर्राष्ट्रीय राजनीति और मुद्दों में दिलचस्पी रखने वाले लोगों के लिये जी 20 शिखर सम्मेलन और संगठन कोई नया नाम नहीं है। जो लोग जी 20 के बारे में नहीं जानते हैं उनके लिये आज हम इस आर्टिकल में जी 20 (G-20 Countries) के बारे में जानकारी देने वाले हैं।

दुनिया की जनसंख्या कितनी है

G-20 Summit: क्या है ? जी 20 शिखर सम्मेलन - मुख्यालय | सदस्य देश की सूची
G-20 Summit क्या है

जैसे कि G-20 क्या है। जी 20 सम्मेलन कहां होता है जी 20 का मुख्यालय कहां है ,इसकी स्थापना कब हुयी आदि सम्पूर्ण जानकारी के लिये इस लेख को अंत तक अवश्य पढें।

G-20 Summit क्या है ?

जी 20 संगठन या समूह (G-20 Summit) यूरोपीय यूनियन और विश्व के 19 अन्य देशों का एक तरह से अनौपचारिक संगठन है। इनके साथ ही इस समूह में अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के प्रतिनिधियों को भी सम्मिलित किया जाता है। जी 20 संगठन वर्तमान दौर में पूरी दुनिया की जीडीपी के 80 फीसदी हिस्सेदारी का प्रतिनिधित्व करता है। इसके अलावा इस संगठन की वैश्विक व्यापार में 75 फीसदी हिस्सेदारी रखता है। जी 20 समूह दुनिया में रहने वाली 60 प्रतिशत से अधिक जनसंख्या का प्रतिनिधित्व भी करता है।

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G-20 Summit की स्थापना और शुरूआत

विश्व की सबसे शक्तिशाली 7 देशों के समूह जिसे जी 7(G7) भी कहा जाता है के द्वारा ही जी 20 संगठन (G-20 Summit) की परिकल्पना प्रस्तुत की गयी थी। साल 1999 में विश्व के विकसित और विकासशील देशों को मिलाकर इस संगठन की आधारशिला रखी गयी थी।

संगठन की स्थापना की आधिकारिक तिथि 25 सितम्बर 1999 है। साल 1999 से ही इन देशों के शीर्ष वित्तीय नेतृत्व और केन्द्रीय बैंकों के गर्वनरों को लेकर बैठक आयोजित की जाती रही है। जब वर्ष 2008 में विश्व में अर्थव्यवस्था का संकट पैदा हुआ तो इस संगठन को और अधिक प्रभावी और विश्व की राजनीति में अपना एक अलग स्थान बनाने की आवश्यकता महसूस हुयी। इसके लिये जी 20 की बैठक को हर साल आयोजित करने का निर्णय लिया गया। वर्तमान में जी 20 की बैठक एक साल में दो बार आयोजित की जाती है। इस बैठक में जी 20 के सदस्य देशों के अलावा विश्व बैंक और अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के प्रतिनिधि भी शामिल होते हैं।

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जी 20 के कार्य (About G-20)

जी 20 सम्मलेन (G-20 Summit) मूल रूप से दो स्तरों पर कार्य करता है। इसे फाइनेंस ट्रैक और शेरपा ट्रैक कहा जाता है। फाइनेंस ट्रैक में सदस्य देशों के मुख्य और केंद्रीय बैंकों के गर्वनर या उनके प्रतिनिधि और सदस्य देशों के शीर्ष वित्त मंत्री शामिल होते हैं।

इसमें मुख्य रूप से सदस्यों के बीच वित्तीय सम्बन्धों, आर्थिक और राजकोषीय मुद्दों तथा करेंसी विनिमय पर चर्चा की जाती है और आवश्यक कदम उठाये जाते हैं। वहीं दूसरी ओर शेरपा ट्रैक में मुख्य रूप से जी 20 समूह की राजनीतिक चुनौतियों और सम्बन्धों पर अधिक जोर दिया जाता है। इसके साथ ही सदस्य देशों की आपसी भागीदारी और विकास तथा उर्जा आदि के क्षेत्र में सहयोग के मुद्दों पर चर्चा की जाती है।

जी 20 के सदस्य देश (G-20 Countries)

जी 20 देश के सदस्यों के तौर पर 20 स्थायी सदस्य हैं। इसके अतिरिक्त स्पेन एक ऐसा देश है जो कि जी 20 का स्थायी सदस्य नहीं है लेकिन प्रतिवर्ष होने वाली बैठक में स्पेन को भी एक स्थायी सदस्य की तरह ही आमंत्रित किया जाता है। इसके अलावा इसकी वार्षिक बैठकों में अतिथि देशों को भी आमंत्रित करने की परम्परा रही है। आर्थिक और राजनीतिक रूप से अहम देशों को अस्थायी और अतिथि सदस्य के रूप में बैठक में शामिल होना का न्यौता दिया जाता है। इसके अलावा विश्व बैंक और अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के प्रतिनिधि भी स्थायी रूप से इन बैठकों में शामिल होते हैं। स्थायी सदस्यों की सूची निम्न है-

क्र.सं.सदस्य देशक्र.सं.सदस्य देश
1अर्जेंटीना (Republic of Argentina)11जापान
2आस्ट्रेलिया12मेक्सिको
3ब्राजील13कोरिया (Republic of Korea)
4कनाडा14रूस (Russian Federation)
5चीन (Republic Of China)15सउदी अरब
6फ्रांस16दक्षिण अफ्रीका (Republic of South Africa)
7जर्मनी17तुर्किये
8भारत (India)18ब्रिटेन (United Kingdom of Great Britain and Northern Ireland)
9इंडोनेशिया19संयुक्त राज्य अमेरिका (USA)
10इटली20यूरोपीय संघ (European Union)

G-20 Summit- सम्मेलन के प्रमुख तथ्य

  • G-20 सम्मेलन की स्थापना आधिकारिक रूप से 25 सितम्बर 1999 को की गयी थी।
  • वर्ष 2008 के बाद वर्तमान तक जी 20 सम्मेलन (G-20 Summit) की 16 वार्षिक बैठकें हो चुकी हैं।
  • जी 20 की अगली यानी 17 वीं बैठक का भारत में होना प्रस्तावित है।
  • इस सम्मेलन (G-20 Summit) का कोई आधिकारिक अध्यक्ष नहीं होता है।
  • इस सम्मेलन का कोई आधिकारिक मुख्यालय और केन्द्रीय कार्यालय नहीं है।
  • यह पूरी तरह से एक अनौपचारिक संगठन है। इसके अनुबंधों को मानने के लिये कोई देश बाध्यकारी नहीं है।
  • G-20 सम्मेलन के वर्तमान में 20 स्थायी सदस्य हैं। जिनमें यूरोपीय यूनियन से अलग हुआ ब्रिटेन अलग अलग सदस्य के रूप में शामिल हैं।
  • G-20 Summit में प्रत्येक वर्ष बैठक की अध्यक्षता रोटेट प्रक्रिया के तहत अलग अलग देशों के द्वारा की जाती है।
  • अध्यक्ष पद के चुनाव के लिये संगठन को 5 ग्रुप्स में बांटा गया है। भारत इनमें से समूह 2 में सम्मिलित है।
  • इस समूह में भारत के साथ साथ दक्षिण अफ्रीका और तुर्किये भी शामिल हैं।
  • जी 20 सम्मेलन दो स्तरों फाइनेंस ट्रैक और शेरपा ट्रैक के आधार पर कार्य करता है।
  • फाइनेंस ट्रैक में सदस्य देशों के शीर्ष वित्तीय मंत्री और केन्द्रीय बैंकों के गर्वनर सम्मिलित होते हैं। और अर्थव्यवस्था में सहयोग और वित्तीय विनिमय पर अधिक जोर दिया जाता है।
  • शेरपा ट्रैक में देशों के राजनीतिक हितों को साधने की कोशिश की जाती है।

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जी 20 के सहयोगी संगठन

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वैश्विक अर्थव्यवस्था के साथ समन्वय करने के लिये जी 20 संगठन (G-20 Summit) को कई अंतर्राष्ट्रीय संगठनों का सहयोग प्राप्त है जिनमें से मुख्य हैं-

  • अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष
  • अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन
  • आर्थिक सहयोग और विकास संगठन
  • संयुक्त राष्ट्र
  • विश्व बैंक
  • विश्व व्यापार संगठन

जी 20 शिखर सम्मेलन के प्रमुख मुद्दे

जी 20 शिखर सम्मेलन में विकासशील देशों के द्वारा कुछ मुद्दों को प्राथमिकता दी जाती है जो कि वैश्विक अर्थव्यवस्था और व्यापार को प्रभावित करते हैं। इनमें से प्रमुख मुद्दे हैं-

  • वित्तीय बाजार को मजबूत करना
  • सदस्य देशों के कर एवं राजकोष में समन्वय स्थापित करना
  • क्षेत्रीय और सदस्य देशों के बीच व्यापारिक भागीदारी को बढावा देना
  • कृषि
  • रोजगार और महिलाओं की रोजगार में भागीदारी सुनिश्चित करना
  • उर्जा और जलवायु परिवर्तन पर ध्यान केंद्रित करना और वैकल्पिक उर्जा को बढावा देना
  • वैश्विक आतंकवाद को रोकने में सहयोग करना
  • वैश्विक स्वास्थ और आयात तथा निर्यात के सम्बन्ध में चर्चा

G-20 Summit 2023

साल 2023 का जी 20 शिखर सम्मेलन (G-20 Summit 2023) भारत में होने जा रहा है। भारतीय विदेश मंत्रालय इस सम्बन्ध में घोषणा भी कर चुका है। यह जी 20 देशों का 17 वां शिखर सम्मेलन होगा और भारत इस बार इस शिखर सम्मेलन की अध्यक्षता भी करेगा।

G-20 Summit 2023 in India
G-20 Summit 2023 India

इस बार भारत के द्वारा अतिथि देशों के रूप में बांग्लादेश, मिस्त्र, मॉरीशस, नीदरलैंड, नाईजीरिया, ओमान, सिंगापुर, स्पेन और संयुक्त अरब अमीरात को आमंत्रित किया गया है।इसके अलावा G-20 Summit 2023 के शिखर सम्मेलन में भारत के द्वारा कई क्षेत्रीय और अंतर्राष्ट्रीय संगठनों को भी आमंत्रित किया गया है। इन संगठनों में प्रमुख हैं-

  • यूएन (United Nation)
  • अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष
  • विश्व स्वास्थ्य संगठन
  • विश्व व्यापार संगठन
  • अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन
  • वित्तीय स्थिरता और विकास परिषद
  • आर्थिक सहयोग और विकास संगठन
  • अफ्रीकन यूनियन
  • अफ्रीकन यूनियन डेवलपमेंट ऐजेंसी
  • आसियान समूह
  • अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन
  • Coalition for Disaster Resilient Infrastructure – CDRI
  • एशियन डेवलेपमेंट बैंक

जी 20 शिखर सम्मेलन (G-20 Summit) से सम्बन्धित प्रश्न

G-20 Summit क्या है ?

विश्व की 20 बडी अर्थव्यवस्थाओं और विकासशील देशों का समूह है। इसके वर्तमान में 20 सदस्य देश हैं। ये देश पारस्परिक रूप से एक दूसरे के वित्तीय और राजनैतिक हितों को साधने का कार्य संगठन के स्तर पर करते हैं।

G-20 Summit 2023 कहां आयोजित किया जायेगा ?

जी 20 संगठन का 17 वां वार्षिक शिखर सम्मेलन (G-20 Summit 2023) में भारत में किया जाना प्रस्तावित है।

G-20 Summit 2023 की अध्यक्षता कौन कर रहा है?

भारत के द्वारा G-20 Summit 2023 की अध्यक्षता की जायेगी।

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