माइक्रो-एंटरप्राइज – All About Micro-Enterprise: Purpose, Features and Types

All About Micro-Enterprise: हमारे देश में माइक्रो-एंटरप्राइज एक उद्योग के रूप में बहुत व्यापक रूप में फैला हुआ है। यदि हम कहें देश के आर्थिक विकास में माइक्रो-एंटरप्राइज का बहुत बड़ा योगदान है तो गलत नहीं होगा। देश में लगभग 12 करोड़ से अधिक लोग माइक्रो-एंटरप्राइज (Micro-Enterprise) के तहत रोजगार प्राप्त करते हैं। देश में ... Read more

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Reported by Rohit Kumar

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All About Micro-Enterprise: हमारे देश में माइक्रो-एंटरप्राइज एक उद्योग के रूप में बहुत व्यापक रूप में फैला हुआ है। यदि हम कहें देश के आर्थिक विकास में माइक्रो-एंटरप्राइज का बहुत बड़ा योगदान है तो गलत नहीं होगा। देश में लगभग 12 करोड़ से अधिक लोग माइक्रो-एंटरप्राइज (Micro-Enterprise) के तहत रोजगार प्राप्त करते हैं। देश में वर्तमान समय में 45 लाख से अधिक माइक्रो लघु उद्योग कार्यरत हैं।

दोस्तों भारत सरकार ने देश में उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए सूक्ष्म, मध्यम एवं लघु उद्योग मंत्रालय की शुरुआत की है जिसके तहत यदि कोई भी व्यक्ति अपना कोई लघु उद्योग शुरू या स्थापित करना चाहता है तो सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय के तहत अपने व्यवसाय को रजिस्टर करना होता है। आप सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय की वेबसाइट msme.gov.in पर जाकर ऑनलाइन माध्यम से रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं।

Micro-Enterprise, Purpose, Features And Types
माइक्रो-एंटरप्राइज, Purpose, Features And Types

आज के अपने इस आर्टिकल में हम आपको MSME के तहत आने वाले माइक्रो-एंटरप्राइज की सम्पूर्ण जानकारी प्रदान करने जा रहे हैं। आर्टिकल में आप जानेंगे की क्या होता है माइक्रो-एंटरप्राइज उद्योग, कौन माइक्रो एंटरप्राइज के लिए पात्र है। माइक्रो उद्योग शुरू करने हेतु क्या है प्रक्रिया। यदि आप इन सब जानकारियों को जानने के इच्छुक हैं तो हमारे इस आर्टिकल को अंत तक जरूर पढ़ें।

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माइक्रो-एंटरप्राइज – All About Micro-Enterprise

आर्टिकल का विषयमाइक्रो-एंटरप्राइज
All About Micro-Enterprise
सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय की शुरुआत कब हुई9 मई 2007
सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय किसके द्वारा शुरू किया गयाभारत सरकार
विभागरोजगार एवं उद्यम विभाग
आधिकारिक वेबसाइटmsme.gov.in

सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग क्या है ?

भारत सरकार के 7 अप्रैल 2018 के उद्योग रोजगार अधिनियम के अनुसार वह उद्योग जो प्लांट और मशीनरी के तहत छोटे स्तर पर विनिर्माण के क्षेत्र में अपना कार्य करते हैं। वह सभी उद्योग सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग की श्रेणी के अंतर्गत आते हैं। कार्यों के आधार पर सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग की दो भागों में वर्गीकृत किया गया है।

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  • विनिर्माण क्षेत्र :
    किसी वस्तु के निर्माण और उत्पादन को लेकर विनिर्माण क्षेत्र में उद्योग के प्रकार :
    • सूक्ष्म उद्योग — वार्षिक टर्न ओवर रु. 5 करोड़ से कम
    • लघु उद्योग — वार्षिक टर्न ओवर रु. 5 करोड़ से 75 करोड़ के बीच
    • मध्यम उद्योग — वार्षिक टर्न ओवर रु. 75 करोड़ से 250 करोड़ के बीच
  • सेवा क्षेत्र में :
    • सूक्ष्म उद्योग — वार्षिक टर्न ओवर रु. 5 करोड़ से कम
    • लघु उद्योग — वार्षिक टर्न ओवर रु. 5 करोड़ से 75 करोड़ के बीच
    • मध्यम उद्योग — वार्षिक टर्न ओवर रु. 75 करोड़ से 250 करोड़ के बीच

सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों का भारत की अर्थव्यवस्था में योगदान:

  • आपको बताते चलें की MSMEs ने भारत के कुल निर्यात में करीब 45% से अधिक योगदान किया हुआ है।
  • भारत के विनिर्माण के क्षेत्र में MSMEs ने सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में 6.11 % का योगदान है। जिसके तहत सेवा क्षेत्र में MSMEs का सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में योगदान 25 % है।
  • हमारे लघु उद्योग ने पिछले कुछ वर्षों में 10% से अधिक की वार्षिक वृद्धि दर्ज की है।
  • देश में MSMEs की इकाइयां स्थापित होने से गावों से रोजगार हेतु होने वाले पलायन में कमी आयी है।
सूक्ष्म, मध्यम एवं लघु उद्योग के संगठनात्मक ढांचा और कार्य:
  • विजन एवं उद्देश्य (Vision & Purpose)
    भारत की वैश्विक अर्थव्यवस्था में वृद्धि के तौर पर सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों का सतत विकास।
  • मिशन (Mission):
    सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों की वृद्धि एवं विकास करना और नए उद्यमों एवं रोजगारों के अवसरों का सृजन करना। उद्यमिता विकास के माध्यम से लक्ष्य कौशल विकास के तहत एमएसएमई के कार्यनिष्पादन में सुधार और विनिर्माण को बढ़ावा देना।
  • कार्य (Work):
    • एमएसएमई को सुविधा और ऋण प्रवाह
    • एमएसएमई की प्रतिस्पर्धा में सुधार
    • प्रौद्योगिकी उन्नयन के माध्यम से विनिर्माण आधार में सुधार
    • क्लस्टर आधार संपर्क के माध्यम से एमएसएमई का संवर्धन करना
    • एमएसएमईको विपणन सहायता
    • कौशल विकास और उद्यमिता विकास प्रशिक्षण
    • प्रधान मंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (पीएमईजीपी) के माध्यम से नए सूक्ष्म उद्यमों का सृजन
    • खादी और ग्रामोद्योग (केवीआई) क्षेत्र का विकास और वृद्धि
    • कयरउद्योग का विकास और वृद्धि

MSME उद्योग के लाभ (Benefits):

जब आप किसी MSME उद्योग को स्थापित करते हैं तो आपको उद्योग के साथ निम्नलिखित लाभ प्राप्त होते हैं –

  • टेक्नोलॉजी और गुणवत्ता में बढ़ोतरी
  • प्रोडक्ट की मार्केटिंग में सरकारी सुविधा मिलना
  • लाइसेंस रजिस्ट्रेशन पर छूट की सुविधा
  • ओवरड्रफ्ट पर ब्याज दर में राहत मिलना
  • पेमेंट प्रोटक्शन
  • बैंक से बॉन्ड-फ्री लोन की सुविधा

Micro-Enterprise क्या है ?

माइक्रो-एंटरप्राइज एक छोटे स्तर पर किया जाने वाला उद्योग है। जो भी व्यक्ति 9 से 10 दस लोगों के साथ मिलकर किसी व्यवसाय को करता है उस व्यवसाय को माइक्रो एंटरप्राइज की श्रेणी में रखा गया है। इस तरह व्यवसाय में अधिकतम निवेश की जाने वाली धनराशि सीमा 10 करोड़ रूपये है और कारोबार के टर्न ओवर की अधिकतम सीमा 50 करोड़ रूपये निर्धारित की गई है।

माइक्रो एंटरप्राइज के प्रकार (Types):

जैसा की आप जानते हैं की माइक्रो एंटरप्राइज पुरे देशभर में अर्थव्यवस्था के तहत सामूहिक रूप से रोजगार का प्रतिनिधित्व करते हैं। यहां हमनें उन सभी सूक्ष्म उद्योगों के बारे में बताया है जो माइक्रो एंटरप्राइज उद्योग के तहत शामिल किये गए हैं। जो इस प्रकार निम्नलिखित हैं।

  • लॉन और भूनिर्माण कंपनियां
  • स्ट्रीट वेंडर्स
  • बढ़ई
  • प्लंबर
  • स्वतंत्र यांत्रिकी
  • मशीन की दुकान संचालक
  • जूता बनाने वाले
  • छोटे किसान

माइक्रो एंटरप्राइज उद्योग के रजिस्ट्रेशन हेतु पात्रता (Eligibility):

यदि आपका माइक्रो उद्योग है और अपने उद्योग को सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय के तहत रजिस्टर करना चाहते हैं तो आपको निम्नलिखित पात्रताएं पूरी करनी होगी। जो इस प्रकार से है –

  • आवेदक भारत का नागरिक होना चाहिए।
  • माइक्रो एंटरप्राइज हेतु आवेदक के व्यवसाय का निवेश और टर्न ओवर वार्षिक टर्न ओवर रु. 5 करोड़ से 75 करोड़ के बीच होना चाहिए।
  • आवेदक के व्यवसाय में काम करने के लिए कर्मचारियों की संख्या अधिकतम 10 से 12 के बीच होनी चाहिए।
माइक्रो एंटरप्राइज उद्योग के रजिस्ट्रेशन हेतु आवश्यक दस्तावेज (Important Documents):

यदि आप अपने माइक्रो व्यवसाय को उद्यम रजिस्ट्रेशन के तहत रजिस्टर करना चाहते हैं तो आपके पास निम्नलिखित दस्तावेज होने चाहिए जो इस प्रकार से हैं –

  • आवेदक के पहचान प्रूफ हेतु (आधार कार्ड, पैन कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस एवं वोटर आईडी कार्ड आदि)
  • पते के प्रमाण हेतु (आवेदक का राशन कार्ड, बिजली/पानी मिल, आदि)
  • आवेदक का नवीनतम पासपोर्ट साइज फोटोग्राफ
  • आवेदक के व्यवसाय से संबंधित सभी जरूरी दस्तावेज
  • आवेदक की बैंक डिटेल्स

माइक्रो एंटरप्राइज के तहत आने वाले उद्योग

आप माइक्रो एंटरप्राइज के तहत विभिन्न प्रकार के उद्योग शुरू कर सकते हैं यहां हमने ऐसे ही कुछ उद्योगों की लिस्ट आपको बताई है –

  • फैंसी जेवेलरी बनाना
  • डिस्पोजेबल कप-प्लेट बनाना
  • एल्युमीनियम का सामान जैसे बर्तन बनाना
  • हॉस्पिटल में उपयोग किए जाने वाला स्ट्रेचर बनाना
  • करंट मापने वाला पर मीटर या वोल्ट मीटर बनाना
  • गाड़ी में लगने वाली हेडलाइट बनाना
  • कपड़े या चमड़े का बैग बनाना
  • बटुआ व हैंडबैग बनाना
  • मसाले बनाने का काम
  • हर्बल सामान जैसे साबुन, तेल आदि बनाना
  • हाथ से बने चॉकलेट बनाना
  • कुकी व बिस्कुट बनाना (Parle कंपनी की शुरुआत भी ऐसे ही हुई थी)
  • देशी माखन, घी व पनीर बनाना और डिब्बा बंद कर बेचना
  • मोमबत्ती व अगरबत्ती बनाना
  • टॉफ़ी व चीनी की मिठाई बनाना
  • सोडा व अलग फ्लेवर्ड ड्रिंक बनाना
  • फलों का गूदा निकालना व बेचना (Fruit pulp extraction & sale)
  • क्लाउड किचन खोलना (Cloud kitchen – Swiggy/Zomato पर खाना बेचना)
  • कांटेदार तार बनाना (fence)
  • टोकरी बनाना
  • चमड़े का बेल्ट जूता या चप्पल बनाना
  • जूते साफ करने की पॉलिश बनाना
  • कपड़े रखने का बक्सा या अटैची बनाना
  • प्लेट व कटोरी बनाना
  • झाड़ू बनाना
  • पारम्परिक औषधियां बनाना
  • पेपर बैग व लिफाफे बनाना

नए माइक्रो एंटरप्राइज उद्योग के लिए उद्यम Registration कैसे करें:

यदि आप भी अपना कोई नया माइक्रो एंटरप्राइज उद्योग शुरू करना चाहते हैं तो इसके लिए आपको सूक्ष्म , लघु एवं मध्यम उद्योग रजिस्ट्रेशन की वेबसाइट https://udyamregistration.gov.in/ पर ऑनलाइन जाकर अपने व्यवसाय को रजिस्टर करना होगा। यहाँ हमने रजिस्ट्रेशन की पूरी प्रक्रिया स्टेप बाय स्टेप बताई है आप इसके बारे में पढ़ सकते हैं –

  1. उद्यम रजिस्ट्रेशन के लिए आप सबसे पहले MSME / Udyam Registration की आधिकारिक वेबसाइट udyamregistration.gov.in को ओपन करें।
  2. वेबसाइट ओपन करने के बाद आपको वेबसाइट के होम पेज पर आपको For New Entrepreneurs who are not Registered yet as MSME or those with EM-II का लिंक देखने को मिलेगा। रजिस्ट्रेशन हेतु लिंक पर क्लिक करें। MSME Udyam registration process online
  3. लिंक पर क्लिक करने के बाद आपके सामने एक नया पेज ओपन हो जाएगा।
  4. अब इस नए पेज में अपना आधार नंबर और उद्यमी का नाम की डिटेल्स डालकर Validate & Generate OTP के बटन पर क्लिक करें। validate and generate OTP code
  5. जिसके बाद आपके आधार से लिंक मोबाइल नंबर पर एक OTP कोड आएगा। OTP कोड को डालकर Validate के बटन पर क्लिक करें।
  6. इसके बाद आपसे आपके संगठन का प्रकार और पैन नंबर डिटेल्स के बारे में पूछा जायेगा। डिटेल्स को डालकर Continue के बटन पर क्लिक करें।
  7. बटन पर क्लिक करने के बाद आपकी स्क्रीन पर रजिस्ट्रेशन फॉर्म ओपन होकर आ जाएगा। अब फॉर्म में मांगी जा रही सभी डिटेल्स को ध्यान पूर्वक भरें।
  8. Registration फॉर्म को भरने के बाद पेज पर दिए गए Submit & Get Final OTP के बटन पर क्लिक करें। इसके बाद कैप्चा कोड डालकर Submit के बटन पर क्लिक करें। बटन पर क्लिक करते ही आपका फॉर्म ऑनलाइन जमा कर लिया जायेगा।
  9. फॉर्म जमा होते ही आपको MSME के सिस्टम द्वारा जेनरेटेड Registration number आपको प्राप्त हो जायेगा।
  10. इस तरह से आप ऑनलाइन माध्यम से Udyam Registration Portal पर स्वयं के व्यवसाय को रजिस्टर कर पायेंगे।

उद्यम रजिस्ट्रेशन Certificate कैसे प्रिंट करें ?

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उद्यम रजिस्ट्रेशन Certificate को प्रिंट करने की प्रक्रिया स्टेप बाय स्टेप इस प्रकार से है-

  1. सबसे पहले आप अपने सिस्टम में उद्यम रजिस्ट्रेशन की वेबसाइट udyamregistration.gov.in को ओपन करें।
  2. वेबसाइट ओपन होने के बाद आपको वेबसाइट के होम पेज पर Print / Verify मीनू के तहत आपको Print Udyam Certificate का लिंक देखने को मिलेगा। लिंक पर क्लिक करें। print udyam certificate MSME
  3. लिंक पर क्लिक करने के बाद आपके सामने एक नया पेज ओपन हो जाएगा।
  4. अब इस ओपन हुए पेज पर अपना Udyam Registrationऔर मोबाइल नंबर की जानकारी को दर्ज करें।
  5. जानकारी दर्ज करने के बाद OTP के विकल्प का चयन कर Validate & Generate OTP के बटन पर क्लिक करें। udyami login after verification with OTP
  6. जिसके बाद आपके मोबाइल फ़ोन नंबर पर OTP कोड आयेगा। OTP कोड को डालकर verify करें।
  7. OTP कोड वेरीफाई होने के बाद आपका उद्यम रजिस्ट्रेशन Certificate पीडीऍफ़ फाइल के रूप में डाउनलोड हो जायेगा। जिसको आप आसानी से प्रिंट भी कर सकते हैं।

माइक्रो एंटरप्राइज से जुड़े प्रश्न एवं उत्तर (FAQs)

माइक्रो एंटरप्राइज हेतु कौन पात्र है ?

जिस भी व्यक्ति का व्यवसाय का निवेश 5 करोड़ रूपये और टर्न ओवर 75 करोड़ रूपये के बीच है तो वह माइक्रो एंटरप्राइज उद्योग के तहत अपने उद्योग को रजिस्टर करवा सकता है।

सूक्ष्म मध्यम एवं लघु उद्योग की आधिकारिक वेबसाइट क्या है ?

सूक्ष्म मध्यम एवं लघु उद्योग की आधिकारिक वेबसाइट https://msme.gov.in/ है।

उद्यम रजिस्ट्रेशन की ऑफिसियल वेबसाइट क्या है ?

उद्यम रजिस्ट्रेशन की ऑफिसियल वेबसाइट udyamregistration.gov.in है।

सूक्ष्म, मध्यम एवं लघु उद्योग की Contact Details:

  • Ministry of Micro, Small and Medium Enterprises
    • Udyog Bhawan, Rafi Marg, New Delhi – 110011
    • Web Information Manager
  • Ministry of Micro, Small and Medium Enterprises
    • Room No 468 C, Udyog Bhawan, Rafi Marg, New Delhi – 110011
    • e-mail : mayapandey[dot]dgca[at]gov[dot]in
  • For general queries related to MSME,
    • Please contact US (CDN/RTI & PG), at No. 011-23063288.
  • Udyam Registration/ Registration/ Udyam Registration Certificate related Administration queries
    • please contact at 011-23063800 or for Technical queries 011-23062354
  • PMEGP(Prime Minister’s Employment Generation Programme)
    • PMEGP- Scheme related queries, please contact Shri Anil Kumar,
    • Under Secretary, at 011-23063641
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